किचन में मंहगाई की मार से हर तपका परेशान
सरकार निगल रही गरीब के मुंह का निवाला
चौपाल(फैजाबाद) ! दो दिन पूर्व सरकार की तरफ से रसोई गैस के दाम बढ़ने की घोषणा के बाद से गांव के लोगों में सरकार के प्रति रोष व्याप्त है। चाहे आम आदमी हो, राजनैतिक पार्टियां हो या फिर घर की रसोई चलाने वाली गृहिणियां सभी सरकार के इस फैसले से नाराज हैं।पटरंगा मंडी निवासी पूर्व अध्यापक राम अभिलाष वर्मा का कहना है कि आज के दौर में घर चलाना भारी हो गया है। महंगाई पहले से ही आम आदमी को त्रस्त कर रही है अब इसमें और ज्यादा बढ़ोतरी हो जाएगी। दो जून की रोटी का जुगाड़ करना आम आदमी के लिए मुश्किल हो जाएगा।गृहिणी रामरती और किसान अमृत लाल वर्मा का कहना है कि जहां गैस सिलेंडर महंगे खरीदने पड़ेंगे, वहीं रसोई की जरूरत की चीजें भी महंगी हो जाएंगी। ऐसे में रसोई का खर्च और अधिक बढ़ जाएगा। जबकि उनके परिवार की आर्थिक स्थिति पहले से ही कमजोर थी और इस महंगाई से और कमजोर हो जाएगी।
गायत्री नगर निवासी अर्पित मिश्र का कहना है कि व्यवसायिक सिलेंडरों के रेट भी उनकी दुकानदारी को पूरी तरह से प्रभावित करेंगे। अगर वे मिठाइयों व अन्य सामग्री के दामों में बढोतरी करेंगे तो इसका प्रभाव सीधा दुकानदारी पर पड़ेगा। जिससे उनकी रोजी-रोटी के भी लाले पड़ जाएंगे। इतना ही नहीं रसोई गैस के दाम बढ़ने से आम आदमी की रोजमर्रा की चीजों के दाम भी और अधिक बढ़ जाएंगे।
तीन माह में घरेलू गैस 141 रुपये 50 पैसे महंगी हुई :
पिछले तीन महीने में रसोई गैस 141 रुपये 50 पैसे महंगी हो गई है। कमर्शियल सिलेंडर 223 रुपये 50 पैसे महंगा हो गया है। एक सितंबर को घरेलू गैस 648 रुपये और कमर्शियल सिलेंडर 1166.50 रुपये था, जो एक अक्टूबर को बढ़कर 696 रुपये (14.2 किलो) और 1243.00 (19 किलो) रुपये हो गया