प्रवासियों के बच्चे भी बड़े प्राइवेट स्कूलों में निशुल्क पढ़ सकेंगे, 10 जुलाई तक आवेदन

लखनऊ। उत्तर प्रदेश में प्रवासी मजदूरों के बच्चे भी अब निजी स्कूलों में बे-रोक-टोक पढ़ पाएंगे। वो 10 जुलाई तक अपना आवेदन करा सकते हैं। इसके लिए, प्रवेश प्रक्रिया ऑनलाइन पूरी की जाएगी। बेसिक शिक्षा निदेशक सर्वेन्द्र विक्रम बहादुर सिंह के मुताबिक, सरकारी स्कूलों के नामांकन करते समय प्रवासी मजदूरों के बच्चों का चिह्नांकन कर सभी कक्षाओं में प्रवेश देने के निर्देश पहले ही दिए जा चुके हैं।
बहादुर सिंह ने कहा कि, इसका पहल का प्रचार-प्रसार किया जाए ताकि, ज्यादा से ज्यादा प्रवासी मजदूरों के बच्चों को प्रवेश दिया जा सके। आरटीई एक्ट की धारा-12 (1) के तहत कक्षा एक में 5 वर्ष से ज्यादा उम्र के बच्चों को प्रवेश दिया जाता है। एक्ट के तहत कक्षा-1 की 25 पर्सेंट सीटें गरीब व अलाभित समूह के लिए आरक्षित की जाती हैं। इसके लिए अभिभावक ऑनलाइन पोर्टल (http://rte25.upsdc.gov.in) पर आवेदन कर सकते हैं। आवेदन करने की अंतिम तारीख 10 जुलाई रखी गई है और इसके बाद लॉटरी से नाम निकाले जाएंगे।
बेसिक शिक्षा निदेशक आगे बोले- ”प्राइवेट स्कूलों में आरटीई एक्ट के तहत आवेदन करने और प्रवेश मिलने पर सरकार फीस की प्रतिपूर्ति करने के साथ 5 हजार रुपए एकमुश्त स्कूल यूनिफार्म व किताबा आदि अन्य खर्चों को भी दिलाएगी। अत: बच्चे कक्षा-8 तक निशुल्क उसी स्कूल में पढ़ सकेंगे। गौरतलब है कि, कक्षा-8 तक का खर्च बेसिक शिक्षा विभाग उठाता है। जिसके निदेशक सर्वेन्द्र विक्रम बहादुर सिंह ही हैं।’
